हॉट लड़कियों की चुदाई स्टोरी में पढ़ें कि पहले मैंने अपनी गर्लफ्रेंड को चोद कर मजा दिया. फिर उसने मुझे अपनी सहेली के पास जाकर उसे चुदाई का सुख देने को कहा.
सेक्स कहानी के सभी दोस्तों को हर्षद का प्यार भरा नमस्कार.
कहानी के पिछले भाग
गर्लफ्रेंड की सहेली की चूत फट गयी
में आपने पढ़ा कि हम तीनों ने यानि नीता, उसकी सहेली गीता और मैंने मिलकर खाना खाया.
मैं थोड़ी देर सोफे पर बैठ गया था. वो दोनों किचन में चली गयी थीं.
मुझे नींद आने लगी तो मैं ऊपर जाकर बेडरूम में लेट गया.
अब आगे Hot Ladkiyon Ki Chudai Story:
मैं पीठ के बल ऐसे ही नंगा लेटा था, लाईट भी चालू ही रखी थी.
मेरी आंख कब लगी, मुझे पता ही नहीं चला.
मेरी नींद जब खुल गयी, तब मुझे कुछ अपने ऊपर वजन सा महसूस हुआ.
मैंने देखा कि नीता नंगी ही मेरे ऊपर सो गयी थी.
वो अपनी चूत मेरे मुरझाए हुए लंड पर रगड़ रही थी और अपने होंठों को मेरे होंठों पर रख कर मुझे चूम रही थी.
उसके स्तन मेरे सीने में दब गए थे, उसकी चूत गीली होने लगी थी.
नीता बहुत गर्म हो गयी थी.
मैंने अपनी आंखें खोलीं और झूठमूठ का गुस्सा दिखाकर कहा- नीता, सोने दो ना मुझे.
नीता बोली- ऐसे कैसे सोने दूँ हर्षद, मेरी चूत में तभी से बहुत खुजली हो रही है, जब से तुम्हारा मोटा लंड गीता की चूत फाड़ कर खून से और वीर्य से लबालब होकर चूत से बाहर आया था.
ये सुनकर मैंने अपने दोनों हाथों से उसकी पीठ और गांड को सहलाते हुए कहा- अच्छा तो ये बात है नीता. लेकिन गीता कहां है?
वो बोली- उसे दर्द की दवा खिलाकर बाजू के बेडरूम मे थोड़ी देर सोने को बोला है. गीता उधर सोयी हुई है. उसे सोने दो, उस बेचारी ने पहली बार तुम्हारा मूसल लिया था, तो उसे दर्द हो रहा है. तब तक हर्षद मैं तुम्हें मजा दूंगी और तुमसे चुदे बिना तुमको सोने नहीं दूंगी
ये कहती हुई नीता अपनी चूत जोर से मेरे लंड पर रगड़ने लगी थी.
मेरा लंड भी अब तनाव में आ गया था.
नीता बोली- हर्षद, गीता तुम पर बहुत फिदा है. वो तुम्हारे लंड की तो बहुत दीवानी हो गयी है.
मैंने नीता को चूम कर कहा- अच्छा और क्या कह रही थी?
नीता ने कहा- वो बोली कि तू बहुत जबरदस्त चुदाई करता है और बहुत रोमांटिक भी है. बरसों बाद उसे ढेर सारी खुशियां मिली हैं.
उसकी बातें सुनकर मेरा लंड और फड़फड़ाने लगा था.
नीता की चूत भी बहुत गीली हो गयी थी.
अब हम दोनों भी कामुक हो गए थे.
तो नीता अपने घुटनों के बल बैठ गई. उसने एक हाथ में मेरा लंड पकड़कर उस पर अपने मुँह से ढेर सारी थूक छोड़ दिया और अपने हाथ से मलकर पूरे लंड को गीला कर दिया.
फिर लंड हाथ में पकड़कर अपनी चूत की खुली दरार में रगड़ने लगी.
अब वो मेरे लंड का चिकना सुपाड़ा अपनी चूत की दरार में रखकर ऊपर से दबाने लगी थी.
मैंने भी नीचे से अपनी गांड उठाकर लंड चूत की दरार में दबा दिया.
मेरे लंड का चिकना सुपारा सट से चूत में चला गया और नीता की कराह निकल गई.
मैं अब नीता की दोनों चूचियों को अपने दोनों हाथों से मसल रहा था, साथ में उसके निपल्स को उंगलियों से हल्के हल्के से मींजने लगा था.
इससे नीता सिहर उठी और अपने मुँह से मादक सिसकारियां लेने लगी ‘आह ओह उई उई हम हूँ हु ..’
साथ में नीता अपनी गांड ऊपर नीचे करके लंड अन्दर बाहर करने लगी थी.
वो लंड का मजा लेती हुई बोली- ओह हर्षद … कितनी जोर से रगड़ते हो, मेरे स्तन और निपल्स में दर्द हो रहा है … आह अब नहीं सहा जाता. जरा हल्के से रगड़ो ना … बहुत मजा आ रहा है.
मैंने उसके दूध हल्के हल्के से रगड़ते हुए नीचे से अपनी गांड उठा कर जोर का धक्का मार दिया तो मेरा लंड नीता की चूत में गहराई में जड़ तक घुस चुका था.
नीता कसमसाती हुई ‘उई माँ आह आह …’ करके झड़ने लगी.
वो मेरे ऊपर लेट गयी.
मैंने उसे अपनी बांहों में कस लिया.
नीता मेरा जोरदार धक्का सह नहीं पायी थी. वो झड़ कर मेरे कंधे पर अपना सर रखकर गर्म सिसकारियां ले रही थी.
मुझे अपनी गर्दन पर उसकी गर्म सांसें महसूस हो रही थीं.
उसके स्तन मेरे सीने पर दब गए थे.
मैं उसकी पीठ और गांड को आहिस्ता आहिस्ता से सहलाने लगा था.
थोड़ी देर बाद नीता ने अपना सर उठाकर मेरे होंठों को चूम लिया और बोली- हर्षद, कितना शानदार लंड है तुम्हारा … एक ही धक्के में मेरी चूत से पानी निकाल दिया. अब थोड़ी देर ऐसे ही मैंने तुम्हारे लंड को अपनी चूत में रखना चाहती हूँ.
मैंने कहा- जैसा तुम चाहो नीता, अब ये लंड तुम्हारा है. तुम जो चाहो कर सकती हो.
मेरी बात पर मुस्कुराती हुए नीता ने मेरे दोनों गालों पर बारी बारी से चूम कर कहा- बहुत बदमाश हो तुम.
मैं हंस दिया.
वो बोली- हर्षद मेरी एक बात मानोगे?
मैंने कहा- हां बोलो ना … जो भी कहना है कह दो नीता.
नीता बोली- आज किसी भी तरह से पूरी रात गीता को चोदकर उसके माँ बनने का सपना पूरा कर दो ना. उसे तुम्हारे जैसा हैंडसम बच्चा चाहिए.
मैंने कहा- जैसा तुम चाहो नीता. मैं उसका सपना जरूर पूरा करूंगा.
मेरी बात सुन कर नीता बहुत खुश हो गयी और अपनी गांड ऊपर नीचे करके लंड अन्दर बाहर करने लगी.
मैं भी जोश में आकर अपने दोनों हाथों से उसकी गांड मसलते हुए अपनी उंगलियां गांड के छेद में डालने लगा.
नीता चिहुंकने लगी और बोली- ओह हर्षद अब और मत तड़पाओ मुझे … जल्दी से चोद दो मुझे और मेरी चूत की प्यास बुझा दो.
उसकी बात सुनते ही मैं जोश में आ गया था.
मैंने नीता को पकड़कर उसे नीचे ले लिया और मैं उसके ऊपर अपने घुटनों के बल बैठ गया.
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मैं उसके स्तन दोनों हाथों में पकड़कर लंड अन्दर बाहर करने लगा.
नीता भी अपनी गांड उठाकर लंड अन्दर लेने लगी थी.
नीता की चूत से उसका चुतरस बाहर आने लगा था.
चूत और लंड के घर्षण की वजह से चूत से मादक पच पच फच फच की आवाजें निकलने लगी थीं.
बीस मिनट तक ऐसे ही मैं नीता को चोदता रहा था.
उसकी चूत और मेरा लंड बहुत ही गर्म हो गए थे.
चूत से निकलने वाली मधुर आवाजें हम दोनों को मदहोश बना रही थीं.
नीता उत्तेजित होकर बोली- हर्षद, अब नहीं सहा जाता आंह और जोर से चोदो … और तेज धक्के मारो … फाड़ दो मेरी चूत को … अपने लंड का अमृत पिलाकर मेरी चूत की प्यास बुझा दो.
मैंने अपने दोनों हाथ नीता की पीठ के नीचे डालकर उसे कस लिया और जोर जोर से धक्के मारने लगा.
मेरे हर धक्के के साथ नीता सीत्कारने लगी थी ‘आह आ ऊ ऊ स्स्स स्स्स हूँ हूँ ओह हर्षद … ऐसे ही जोर जोर से ठोको मेरी चूत को … आंह अपने मोटे लंड से पेलो … आह मजा आ रहा है.’
कुछ ही देर की धुंआधार चुदाई के बाद हम दोनों चरम सीमा पर आ गए थे.
इतने में नीता बोली- हर्षद, अब मैं झड़ने वाली हूँ.
मैंने एक जोर से धक्का मार दिया तो नीता झड़ने लगी.
उसकी चूत ने ढेर सारा चुतरस मेरे लंड पर छोड़ दिया.
उसी पल मेरे लंड ने भी अपने वीर्य की पिचकारियां नीता की चूत की गहाराई में मारना शुरू कर दी थीं.
नीता ने अपनी टांगों से मेरी कमर को जकड़ लिया और अपने दोनों हाथों से मुझे कस लिया था.
हम दोनों थककर एक दूसरे की बांहों में समा चुके थे. दोनों आंखें बंद करके सिसकारियां ले रहे थे.
नीता की चूत मेरे लंड से वीर्य की एक एक बंद निचोड़कर अपनी प्यास बुझा रही थी.
थोड़ी देर में नीता की चूत शांत हो गयी.
कुछ मिनट हम दोनों ऐसे ही लेटे रहे थे.
जब नीता स्वस्थ हो गयी तो वो अपने हाथों से मेरी गांड को मसलने लगी थी और साथ में मेरी गांड के छेद में अपनी उंगलियां फिराने लगी.
मैंने उसके होंठ चूमते हुए कहा- अब क्या इरादा है नीता?
वो मुस्कुराकर बोली- कुछ नहीं … अब उठो और अपना लंड निकाल दो मेरी चूत से अब सोने दो. मैं बहुत थक गयी है. तुम्हारे लंड ने पूरी तरह से रगड़कर मेरी चूत की प्यास बुझा दी है.
मैंने घुटनों के बल बैठकर अपना लंड चूत से बाहर निकाल दिया.
नीता उठकर बैठ गयी और मेरे लंड को कामरस से लबालब देखकर अपने मुँह में लेकर चूसने लगी.
मेरा लंड आधा मुरझाया था, इसलिए नीता ने पूरा लंड मुँह में लेकर चूसकर साफ चिकना कर दिया था.
अब वो दोनों हाथों में लंड पकड़ कर सहलाती हुई बोली- हर्षद, अब तुम गीता के पास जाओ.
नीता ने मेरे लंड को चूम लिया और बोली- अब जाओ हर्षद. गीता को रातभर चोदो. अब मुझे नींद आ रही है.
वह नंगी ही लेट कर सोने लगी.
मैं अपना लंड हिलाते हुए गीता के बेडरूम में चला गया.
कमरे की लाईट चालू ही थी, गीता नंगी ही पीठ के बल सो रही थी. उसकी दोनों टांगें फैली हुयी थीं.
मैं बेड पर चढ़ गया.
उसकी चूत पहले से ज्यादा फूल गयी थी. चूत गीली होने के कारण चमक रही थी.
उसकी चूत की दारार अब एकदम साफ दिख रही थी.
मेरे मोटे लंड ने एक ही चुदाई में चूत चौड़ी कर दी थी.
मैंने समय देखा तो रात के साढ़े बारह बज चुके थे.
गीता की रसीली चूत देखकर मेरा लंड फिर से तन गया था.
मैं गीता की टांगों के बीच आकर अपने होंठों से उसकी चूत की आजू बाजू चूमने लगा था.
शायद गीता गहरी नींद में थी. उसकी कोई हलचल नहीं हो रही थी.
मैंने सीधे उसकी चूत पर अपने होंठ रख दिए और लगातार चूमने लगा.
फिर आहिस्ता से अपनी जीभ की नोक चूत की दरार में डालकर चूत रगड़ने लगा.
चूत में जीभ का खुरदुरापन महसूस करते ही गीता की जांघें अपने आप फैल गयी थीं.
मैंने गीता की तरफ देखा तो उसकी आंखें बंद थीं लेकिन उसका सीना ऊपर नीचे हो रहा था, उसकी सांसें तेज तेज चल रही थीं.
मैं समझ गया था कि गीता जाग चुकी है, वो सोने का नाटक कर रही थी.
अब मैंने उसकी दोनों मुलायम, दूध जैसी गोरी, मांसल और गदरायी जांघें सहलाईं और फैलाकर पकड़ लीं.
फिर अपनी जीभ से उसकी चूत, नीचे से ऊपर तक चाटकर पूरी जीभ उसकी चूत में डाल दीं.
मैं हैरान हो गया था, गीता की चूत भट्टी के जैसी गर्म हो गयी थी.
तेज गति से मैं अपनी जीभ अन्दर बाहर करने लगा.
थोड़ी देर चूत चुसाई के बाद गीता से रहा न गया और वो अपने हाथों से मेरा सर पकड़कर अपनी चूत पर दबाने लगी.
साथ में वो अपने मुँह से ‘आह आ स्स्स स्स्स आ आह …’ की मादक सिसकारियां निकालने लगी थी.
उसका पूरा बदन अकड़ने लगा था.
मैं उसकी चूत जोर जोर से चूस रहा था तो गीता एकदम से कसमसाती हुई झड़ने लगी.
उसकी चूत ने अपना गर्म चुतरस छोड़ दिया था.
मैं चूत का रस पीने लगा.
गीता आंह आंह करती हुई अपने हाथों से मेरा सर सहला रही थी.
पूरा चुतरस चाट लेने के बाद मैं सीधा गीता के ऊपर लेट गया और अपनी जीभ उसके मुँह में डाल दी.
गीता मेरी जीभ चूस रही थी. साथ में वो अपनी जीभ मेरी जीभ से लड़ा रही थी.
हम दोनों अति कामुक हो गए थे.
नीचे मेरा तना हुआ लंड गीता की चूत पर रगड़ खा रहा था.
उसके दोनों स्तन मेरे सीने पर दब गए थे.
अब हम दोनों एक दूसरे के होंठों को चूसने लगे थे.
गीता कुछ ही पलों में फिर से गर्म हो गयी थी.
उसने अपने दोनों हाथों से मेरी गांड सहलाते हुए कहा- हर्षद, अब मुझसे नहीं रहा जाता, तुम्हारे लंड ने मेरी चूत रगड़कर फिर से आग लगा दी है. अब तुम अपना मोटा लंड मेरी चूत में डाल दो और इसे अपने अमृत से भर दो. मेरी चूत की आग बुझ जाए और मुझे तुम जैसी सन्तान प्राप्त हो जाए.
गीता की भावुक और कामुक बातें सुनकर मैं पूरे जोश में आ गया और अपने घुटनों के बल बैठ गया.
मैंने एक हाथ में लंड पकड़ कर गीता की चूत की फूली और गीली हुयी दरार में लंड का सुपारा रगड़ने लगा.
गीता ने अपने दोनों हाथों से अपनी चूत की दरार को दोनों तरफ खींचकर चौड़ा कर दिया और मैंने उसी वक्त एक जोर से धक्का मारकर अपना पूरा लंड गीता की चूत की गहराई में पेल दिया.
वह कसमसाती हुई अपने मुँह से मादक ‘आह आ आ स्स्स स्स्स स्स्स …’ की मादक आवाजें निकालने लगी.
मैं गीता के कड़क और उभरे हुए स्तनों को दोनों हाथों से पकड़कर, अपना लंड उसकी चूत में अन्दर बाहर कर रहा था.
गीता को चुदाई में बहुत मजा आ रहा था तो वो ज्यादा उत्तेजित होकर अपनी गांड उठा उठा कर लंड को चूत में ले रही थी.
दस मिनट की धकापेल चुदाई के बाद गीता ने पूरी तरह से काम वासना में डूबकर मुझे अपने ऊपर खींच लिया और अपनी दोनों टांगों से मेरी कमर को जकड़ लिया.
साथ में उसने मुझे अपने बांहों में कसकर अपनी गांड ऊपर उठाकर मेरा पूरा लंड अपनी चूत की जड़ तक लेकर झड़ने लगी.
उसकी चूत ने गर्म लावा मेरे लंड पर छोड़ा और शांत हो गयी.
हम दोनों सिसकारियां लेते हुए एक दूसरे की बांहों में समा चुके थे.
गीता दो बार झड़ चुकी थी लेकिन मेरा लंड इतनी जल्दी स्खलित होने वाला नहीं था.
मेरा लंड हॉट लड़कियों की चुदाई के अभी भी लोहे जैसा था और गीता की चूत में अड़ा बैठा था.
दोस्तो, मैंने गीता की चूत चोदकर उसमें अपने बीज को बो कर उसे सन्तान सुख देने का जिम्मा लिया था.
उसकी इस ख्वाहिश को किस तरह से मैंने पूरा किया, ये आप मेरी हॉट लड़कियों की चुदाई स्टोरी के अगले भाग में पढ़ेंगे. प्लीज़ मेल और कमेंट्स करना न भूलें.
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