एक शाम गर्लफ्रेंड और उसकी भाभी के साथ

फ्री ग्रुप सेक्स कहानी मेरी गर्लफ्रेंड और उसकी होने वाली भाभी की है. मैं गर्लफ्रेंड की चुदाई करने गया तो उसकी होने वाली भाभी भी उसके साथ थी. फिर क्या हुआ?

सेक्स कहानी के सभी पाठकों को मेरा नमस्कार।
मैं राजदीप एक बार फिर से सेक्स कहानी पर आपका स्वागत करता हूं.
मेरी पिछली कहानियों के लिए मुझे आप सबके बहुत सारे कमेंट मिले उनके लिए आप सभी का हार्दिक धन्यवाद।

मैं आज आपके लिए अपना नया अनुभव फ्री ग्रुप सेक्स कहानी में लेकर एक बार फिर से हाजिर हूँ. कोरोना लॉकडाउन खत्म होने के बाद मैं अपनी पुरानी दोस्त डेजी से मिलने के लिए गया.

डेजी की चूत की सील मैंने ही तोड़ी थी. एक बार मैं उस लड़की की गांड चुदाई भी कर चुका था.
मैंने बहुत दिन से उसे चोदा नहीं था तो सोचा कि एक बार फिर से उसकी चुदाई के मजे लिये जायें.

मैंने डेजी को डेट पर चलने के लिए पूछा तो उसने हाँ कर दिया.

अगले दिन मैं उसे घर से लेने पंहुचा तो उसने मुझे एक सरप्राइज़ दिया.

उसके साथ उसकी एक फ्रेंड और थी. उसका नाम मोना था.

डेजी ने जब उसका परिचय करवाया तो उसने बताया कि वो उसकी होने वाली भाभी है. वो अहमदाबाद की रहने वाली थी.

फिर मैंने उन दोनों से थोड़ी बातें की और फिर हम घूमने के लिए निकल चले.
कार में डेजी मेरे साथ आगे वाली सीट पर बैठी थी और मोना पीछे बैठ गई।

हम आस-पास के सारे रेस्तरां देखकर आ गये थे मगर कोई अच्छा सा रेस्तरां खुला हुआ नहीं मिला.
चूंकि अभी कोरोना का असर था तो सब कुछ सही तरह से ओपन नहीं हुआ था.

फिर मैंने एक ऑनलाइन फूड डिलीवरी एप से खाना ऑर्डर कर दिया और हम लोग मेरे घर आकर आराम करने लगे.

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मैंने ड्रिंक के लिए पूछा तो दोनों ने ही हां कर दी.

वोडका के पैग बनाकर मैंने उनको दिये और खुद भी पीने लगा.
दो पैग में ही नशा होने लगा और मोना को देखकर मुझे उसको चोदने का मन करने लगा.

मोना का कद 5 फीट का था लेकिन उसका जिस्म एकदम से भरा हुआ था. उसकी चूचियां 36 की थीं.
उसकी भारी छाती को देखकर मेरे अंदर सेक्स के ही ख्याल आ रहे थे.

मैंने मोना से पूछा- तुम्हें सुनील (होने वाला पति) कैसे पसंद आ गया?
वो बोली- कुछ नहीं, बस वो न तो कोई काम करता था और न ही कहीं जाता था. किसी से कुछ बात भी नहीं करता था. मुझे उसकी सादगी बहुत पसंद आ गयी.

उसकी बात पर मुझे यकीन नहीं हुआ क्योंकि आज के टाइम में कोई भी लड़की निठल्ला पति तो नहीं चाहती है. ऊपर से वो सादगी की बात कर रही थी.
इतने सादगी भरे लड़के आजकल लड़कियों को नहीं पसंद आते. मैंने सोचा कि दाल में जरूर कुछ काला है.

इतने में ही खाना भी आ गया.
हम लोगों ने साथ में मिलकर खाना खाया और बातें करने लगे.
फिर साथ में हम लोग पैग भी पी रहे थे.

मेरी नजर मोना पर ही लगी हुई थी.
फिर मोना बोली- अच्छा, ये बताओ कि डेजी और तुम्हारा क्या चक्कर है?
मैंने कहा- कोई चक्कर नहीं.
वो बोली- तुम बनो मत। मैं जानती हूं कि तुम दोनों के बीच में दो बार सब कुछ हो चुका है.

मैंने कहा- सब कुछ क्या?
वो बोली- मुझे सब पता है कि तुम दोनों के बीच में दो बार सेक्स हो चुका है.

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ये सुनते ही मैंने डेजी की ओर देखा तो वो मुस्करा रही थी.
मुझे पता लग गया कि उसने भाभी को सब बता दिया है.
मोना बोली- अब ये बताओ कि तुम डेजी को लेकर कितने सीरियस हो? क्या तुम दोनों शादी करोगे?

मैंने कहा- हां हां … जैसे ही डेजी हां करेगी तो मैं उससे शादी कर लूंगा.
किसी तरह मैंने इस बात को खत्म करने की कोशिश की क्योंकि आजकल इस तरह से कौन शादी करता है, सब मजे लेकर छोड़ देते हैं.

मोना बोली- तो ठीक है, फिर मैं ही डेजी को उसकी शादी में तैयार करूंगी. वैसे आपको मैं कैसी लगी?
मैंने कहा- आप डेजी की होने वाली भाभी हो इसलिए मैं आप पर कमेंट नहीं कर सकता.

वो बोली- क्यों? देखने में तो नहीं शर्मा रहे थे.
मैंने सोचा कि मोना ने मेरी चोरी पकड़ ली है. मैं उसको तभी से घूर रहा था.
फिर मैं बोला- आप बहुत खूबसूरत हो.

उसके बाद मैंने डेजी को दो मिनट के लिए मेरे रूम में आने के लिए कहा क्योंकि मेरा बहुत जोर से मन कर रहा था चुदाई के लिए.
मैं रूम में गया और मेरे पीछे ही डेजी भी आ गयी.

मैंने आते ही उसको बांहों में लेकर चूमना शुरू कर दिया.
उसने किस में मेरा साथ दिया.

लेकिन फिर वो जाने लगी और बोली कि मोना अंदर आ जायेगी.

मगर मैंने उसको पीछे से पकड़ लिया और उसकी गांड पर अपना लंड सटा दिया. मेरा मन कर रहा था कि उसके कपड़ों के ऊपर से ही उसकी गांड में लंड घुसा दूं.

इतने में ही मोना अंदर आ गयी और हम दोनों एकदम से अलग हो गये.
मोना बोली- हां, पता था मुझे. दोनों के अंदर ही आग लगी हुई है. खोलो कपड़े और कर लो अपनी मन की! शर्मा क्यों रहे हो?

डेजी बोली- चुप हो जाओ. तुम कुछ भी बोलती हो।
ये सुनकर मोना जोर से हंसने लगी और जाने लगी.

मोना ने रूम का दरवाजा बंद किया और निकल गई.

हम दोनों ने फिर किस करना शुरू कर दिया और एक दूसरे की टीर्शट निकाल दी. मैं डेजी की चूचियां ब्रा के ऊपर से ही चूस रहा था।

डेजी ने अपनी ब्रा खोली और हम दोनों बेड पर लेट गये.

मैं अब डेजी की चूचियों से खेल रहा था, उनको कसकर दबा रहा था, उसके निप्पलों को पी रहा था.

फिर मैं धीरे धीरे उसको किस करता हुआ उसके पेट से लेकर उसकी चूत तक पहुंच गया.

तभी अचानक दरवाजा खुलने की आवाज हुई.
मैंने पीछे मुड़कर देखा तो चौंक गया. मोना अपनी टीशर्ट निकाल कर दरवाजे पर केवल ब्रा में ही खड़ी हुई थी.

मोना ने लाल रंग की नेट वाली ब्रा पहन रखी थी और उसकी चूचियां उसकी सेक्सी ब्रा से बाहर निकलने के लिए बेचैन थीं।
मोना बोली- डेजी … अपने आशिक़ को थोड़ा मेरे साथ भी बाँट ले. ये चूचियां तो बहुत अच्छे से पीता है. थोड़ी मैं भी पिला दूं. तू थक गयी होगी.

पहले तो डेजी ने शर्म और परेशानी में थोड़ा इनकार किया लेकिन बाद में वो मान गई.
मेरी तो जैसे लॉटरी लग गयी.
एक साथ दो दो जवान लड़कियों के बोबे चूसने को मिल रहे थे.
दोनों ही बड़े बड़े चूचों वाली थी.

मैं मोना के पास गया और उसे कमरे के अंदर किया.
फिर मैंने मोना को पीछे से पकड़कर उसकी चूचियों को दबाना शुरू किया और उसकी कमर पर किस करना शुरू कर दिया.

थोड़ी देर बाद मोना की ब्रा के हुक खोलकर मैंने उसके चूचों को अपने मुँह में ले लिया और छोटे बच्चे की तरह उसके चूचों को चूसने लगा.
मोना सिसकारियां भरने लगी.

अब डेजी को भी चुदास जगी. वो मेरे पास आयी और मेरे खड़े लंड को पैंट के ऊपर से ही सहलाने लगी.
मुझे अब बहुत मजा आ रहा था.

फिर मैंने मोना की पैंट उतरवा दी. मैंने उसकी पैंटी में हाथ डाला और उसकी चूत को सहलाने लगा.
वो एकदम से तेज तेज सिसकारने लगी.

अब डेजी ने मेरी पैंट को खोलकर उसे नीचे गिरा दिया और मेरे अंडरवियर में से लंड को बाहर निकाल लिया.
वो मेरे लंड को मुंह में लेकर चूसने लगी.

फिर मैंने डेजी को भी अपने साथ में खड़ी कर लिया. अब मैं बारी बारी से दोनों की चूचियों को पीने लगा.
वो दोनों भी एक दूसरे की चूचियों को हाथ में लेकर दबाने लगीं.

फिर हम तीनों पूरे के पूरे नंगे हो गये.

मगर अब तक नशा हल्का हो गया था. इसलिए मैंने फिर से पैग लगाने के लिए कहा.

हम बाहर आ गये. मैंने वोडका के 3 पेग बनाये और हम सोफे पर बैठ गए.

डेजी मेरे बगल में बैठ गई और मोना आकर मेरी गोद में बैठ गयी.
उसने अपने पैर डेजी की गोद में रख लिए और बोली- ये जो भी सीन हो रहा है ये केवल हम तीनों के बीच में ही रहे तो ठीक है.

उसकी चूचियों को छेड़ते हुए मैंने कहा- हां भाभी जी, आप चिंता न करो. ये बात हमारे ही बीच में रहेगी.
मेरा लंड मोना की गांड के नीचे फनफना रहा था और बार बार मोना की गांड व चूत पर लग रहा था.

फिर हम अपने अपने पैग पीने लगे. मोना बीच बीच में मेरे होंठों को चूस रही थी और नीचे हाथ ले जाकर मेरे लंड को भी खींच रही थी.

उधर डेजी मोना की चूत को छेड़ रही थी.

कुछ देर में हमने पैग खत्म कर लिये.
मैंने कहा- तो अब बोलो. पहले किसकी चूत मेरे लंड का स्वागत करना चाहती है?

मोना बोली- वैसे तो पहला हक डेजी का बनता है लेकिन मैं बड़ी हूँ तो आज ये सौभाग्य मुझे मिलना चाहिए. मगर मेरी तमन्ना है कि डेजी अपने ही हाथों से अपने आशिक का लंड मेरी चूत में डाले.

डेजी भी नशे में थी और मैं भी.
इसलिए हम दोनों पूरी मस्ती करने के मूड में थे.

डेजी बोली- ठीक है, चल मेरी रंडी भाभी, आज मैं खुद ही तुझे अपने आशिक के लंड से चुदवाती हूं. तू देखती जा कि ये अब तेरी चूत का क्या हाल करेगा. बहुत शौक चढ़ा है तुझे मेरे बॉयफ्रेंड से चुदाई करवाने का।

अब डेजी ने हम दोनों को खड़ा किया. उसने मेरे लंड को पकड़ा और लंड से खींचकर मुझे बेडरूम में ले गयी.
पीछे पीछे मोना भी अपनी नंगी चूत और चूचों को हिलाती हुई आ गयी.

आते ही मोना अपनी चूत खोलकर बेड पर लेट गयी.
डेजी ने मेरे लंड को मुंह में लिया और एक दो बार पूरा मुंह के अंदर तक ले जाते हुए चूसा.
मुझे चुदाई का जोश चढ़ गया.

मेरा लंड अपने पूरे तनाव में था. फिर डेजी ने मेरे लंड पर कॉन्डोम चढ़ाया और फिर हाथ से पकड़ कर मेरे लौड़े को अपनी भाभी मोना की चूत पर सेट कर दिया.

मैंने देर न की और मोना की चूत में लंड को धकेल दिया.
उसकी जोर से आह्ह की आवाज हुई और वो दर्द में थोड़ी उचकी.
मगर मैंने उसकी चूचियों पर मुंह लगा दिया और उनको पीते हुए उसकी चूत में लंड को पूरा उतार दिया.

फिर मैं भाभी की चुदाई करने लगा. कुछ देर के बाद चुदते हुए मोना के मुंह से मस्त कामुक सिसकारियां निकलने लगीं.
अब डेजी आई और मेरे सामने नीचे झुककर अपनी चूत मेरे मुंह के आगे कर दी.

मैं मोना की चूत में लंड को पेलते हुए डेजी की चूत में जीभ से चाटने लगा.
डेजी सिसकारते हुए अपनी चूत के दाने को हाथ से रगड़ने लगी.

दोनों के मुंह से मस्त कामुक सिसकारियां निकल रही थीं- आह्ह … राज … आह्ह … ओह्ह … ओह्ह … राज … आह्ह … चोदो … तेज तेज चोदो … ओह्ह … यार … करते रहो।

कुछ देर मुझसे चूत चटवाने के बाद उसने मोना के मुंह पर चूत लगा दी.
अब मोना डेजी की चूत चाटने लगी. वो मेरे लंड के धक्के आराम से सहन करते हुए चुद रही थी और डेजी को भी पूरा मजा दे रही थी.

10 मिनट तक ऐसे ही मैंने उसकी चूत चोदी.
वो एक बार झड़ गयी मगर मेरे लंड में अभी काफी दम बचा हुआ था.

मैं नीचे लेट गया और मोना ने अपने हाथों से पकड़ कर मेरा लंड अपनी चूत में सेट किया.

अब मोना काऊ गर्ल की पोजीशन में चुदने लगी. वो तेजी से ऊपर नीचे होते हुए चुद रही थी.

डेजी ने अब मेरे मुंह पर चूत रख दी थी और चटवाने लगी. मैं उसकी चूत में जीभ से चोदने लगा.
साथ ही साथ मैं डेजी की चूचियां भी दबा रहा था.

अब मुझे बहुत ज्यादा उत्तेजना हो रही थी क्योंकि मैं हर तरफ से व्यस्त हो गया था. मेरा लंड मोना भाभी की चूत में था.
मेरी जीभ मेरी गर्लफ्रेंड की चूत में थी और मेरे हाथ मेरी गर्लफ्रेंड की चूचियों को दबाने में लगे थे.

मुझसे ज्यादा देर अब रुका नहीं जा सकता था. उधर मोना मेरे लंड को अपनी चूत से रौंदने में लगी हुई थी.

मेरा लंड फटने को हो गया था और किसी भी वक्त मेरा वीर्य निकल सकता था.

फिर एकाएक मेरे वीर्य का बांध टूटा और मैंने दे पिचकारी … दे पिचकारी मोना की चूत में वीर्य छोड़ना शुरू कर दिया.
वीर्य निकलते ही मेरे लंड के धक्के लगने बंद हो गये और लंड पर मोना के ही धक्के चलते रहे.

अब मेरा लंड ढीला पड़ने लगा तो मोना बोली- ले डेजी, तेरा आशिक तो अब ठंडा पड़ने लगा.
डेजी बोली- मुझे तो 40 मिनट तक नचाया था इसने, तेरी चूत में 20 मिनट में ही कैसे झड़ गया?

मैंने डेजी को समझाया- जान … तेरी चूत मेरे मुंह में थी. ऊपर से मैं तेरी चूचियों को भी दबा रहा था. नीचे से मेरे लंड पर मोना की चूत स्पीड में चोद रही थी. मुझे बहुत ज्यादा एक्साइटमेंट हो गयी थी.

फिर हम तीनों नंगे ही बेड पर लेट गये. मेरे एक साइड मोना और दूसरी साइड डेजी थी. आज मुझे नवाबों वाली फीलिंग आ रही थी. कुछ देर तक मैं उन दोनों के जिस्मों को सहलाता रहा.

आधे घंटे बाद डेजी ने मेरा लंड मुंह में ले लिया और उसको जोर से चूसने लगी. उसने मेरे लंड को पांच मिनट में ही चूस चूसकर चार्ज कर दिया.

अब डेजी की चुदाई होनी बाकी थी.
वो चुदवाने के लिए बहुत समय से इंतजार कर रही थी.

मैंने उसको ज्यादा इंतजार नहीं करवाया और उसे नीचे लिटाकर उसकी चूत में लंड दे दिया और चोदने लगा.

मोना अब पास पड़ी कुर्सी पर जा बैठी थी. वो हम दोनों की चुदाई देख रही थी.

फिर चुदते हुए डेजी को पेशाब लगा तो वो बाथरूम में चली गयी.
इतने में ही मोना आ खड़ी हुई और खुद ही मुझे लेकर बेड पर लेट गयी और अपनी चूत में मेरा लंड लेकर चुदने लगी.

इसके बाद डेजी वापस आई तो मोना बोली- राज … तुम डेजी को मेरे सामने ही कुतिया बनाकर इसकी गांड में लंड डालो. मैं अपनी होने वाली ननद की गांड चुदाई देखना चाहती हूं और वो भी अपनी ही आंखों के सामने!

मैंने डेजी को बेड पर कुतिया बना लिया. मैंने उसकी गांड में मुंह लगाया और पहले उसको चाटने लगा.
डेजी की गांड मस्त हो गयी और वो अपनी गांड को मेरे मुंह पर रगड़ने लगी.

कुछ देर तक चाटने के बाद मैंने लंड पर तेल लगाया और उसकी गांड में लंड को धकेल दिया.
डेजी चिल्लाने लगी तो मोना ने उसके मुंह में अपनी चूचियां डाल दीं और बोली- राज को इंजॉय करने दे कुतिया. इतनी आवाज मत कर!

फिर वो मुझसे बोली- राज … अगर तुमने इसकी गांड से लंड को दस मिनट से पहले निकाला तो मैं तुम्हारे लंड को नहीं बख्शूंगी.
मैं भी मन लगाकर गर्लफ्रेंड की गांड चुदाई करता रहा.

लगभग 10-12 मिनट तक मैंने डेजी की गांड को चोदा. अब उसकी गांड काफी खुल गयी थी और लंड आराम से अंदर बाहर हो रहा था.

अब मैं भी झड़ने वाला था.
मैंने अब उसको नीचे लिटा लिया और उसकी एक टांग उठाकर पीछे से उसकी गांड में लंड से चोदने लगा.

अब मेरे होंठ डेजी के होंठों को चूस रहे थे और वो टांग उठाकर गांड चुदवाने का पूरा मजा ले रही थी.

पांच मिनट तक चोदने के बाद फिर मैं उसकी गांड में ही झड़ गया.
मेरे लंड का सारा माल उसकी गांड में चला गया और मैं शांत हो गया.
मोना अपनी ननद की खुली हुई गांड देखकर मुस्करा रही थी.

उसकी गांड का छेद ऐसे फैल गया था जैसे किसी ने उसकी गांड में मोटा डंडा देकर कई दिन के बाद निकाला हो. गांड के छेद में अब अंदर तक झांका जा सकता था.

उन दोनों की चुदाई के बाद अब मैं काफी थक गया था.
डेजी भी बहुत थक गयी थी और मोना भी.

फिर हम तीनों ही बेड पर लेट गये. तीनों एक दूसरे से चिपक गये और नंगे जिस्मों को सहलाने लगे.
हमें कब नींद आयी पता नहीं चला.

जब आंख खुली तो शाम के 5 बज गये थे.
मैंने उठकर चाय बनाई और हम तीनों ने साथ में चाय पी.

उसके बाद सब लोग नहाए और कपड़े पहन कर तैयार हो गये.

अब उनको घर वापस छोड़ने भी जाना था तो मैंने देर करना ठीक न समझा क्योंकि फिर किसी को शक हो सकता था.

हम तीनों वहां से निकल लिये. मैंने उन दोनों को घर छोड़ा और फिर वापस अपने घर आ गया.

मैं तो गर्लफ्रेंड की चुदाई करने गया था लेकिन भाभी की चुदाई का मौका साथ में फ्री में मिल गया.

दोस्तो, ये थी मेरी गर्लफ्रेंड की चुदाई की सेक्सी स्टोरी.
क्या आपके साथ कभी ऐसा हुआ है कि एक चूत के साथ आपको दूसरी चूत फ्री मिली हो? यदि हां तो अपना अनुभव मुझे जरूर बतायें.

आपको ये फ्री ग्रुप सेक्स कहानी कैसी लगी इसके बारे में भी अपनी राय भेजें. मुझे आपकी प्रतिक्रियाओं इंतजार रहेगा.